Shark Tank के जजों से न मिली फूटी कौड़ी, फिर भी खड़ी कर दी 100 Crore की कंपनी?

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Shark Tank में यश गंगवाल का Urban Monkey ब्रांड अपने ग्राहकों को उच्च गुणवत्ता के स्ट्रीटवियर फैशन का अनुभव देता है। उनके प्रोडक्ट्स न केवल स्टाइलिश हैं, बल्कि वे ग्राहकों की जरूरतों और रुचियों को ध्यान में रखते हुए डिजाइन किए गए हैं। यह ब्रांड एक नया दृष्टिकोण पेश करता है जो युवाओं को अपने तरीके से फैशन का आनंद लेने की स्वतंत्रता देता है। यश का लक्ष्य न केवल फैशन उद्योग में एक ब्रांड स्थापित करना है, बल्कि उन्होंने एक ऐसी समुदाय की भावना को भी बढ़ावा दिया है जहां लोग अपने विचारों और शैली का साझा कर सकते हैं।

Urban Monkey के बढ़ते प्रभाव का एक प्रमुख कारण यश की डिजिटल मार्केटिंग और SEO में उत्कृष्टता है। उन्होंने अपने ब्रांड की पहचान को मजबूत करने और ऑनलाइन उपस्थिति को बढ़ाने के लिए रणनीतिक रूप से काम किया है। उनकी वेबसाइट के माध्यम से ग्राहकों तक सीधे पहुंचने का निर्णय उनके ब्रांड के विकास में महत्वपूर्ण रहा है। यश के नेतृत्व में, Urban Monkey का टर्नओवर और वैल्यूएशन तेजी से बढ़ा है, जिससे वह भारत के सबसे सफल स्ट्रीटवियर ब्रांड्स में से एक बन गया है।

यश गंगवाल की यात्रा हमें यह प्रेरणा देती है कि निरंतर प्रयास, दृष्टि और समर्पण के बल पर हम अपने सपनों को साकार कर सकते हैं। उनका ब्रांड न केवल फैशन की दुनिया में एक नया मानदंड स्थापित करता है, बल्कि वह अन्य युवा उद्यमियों के लिए एक मार्गदर्शक के रूप में भी काम करते हैं। यश की सफलता की कहानी हमें यह सिखाती है कि असफलता से उबरने और अपने लक्ष्यों की ओर डटकर मेहनत करने से हम किसी भी चुनौती को पार कर सकते हैं।

यश गंगवाल: Shark Tank से सफलता की कहानी

Urban Monkey के पीछे यश गंगवाल का उद्देश्य था एक ऐसा स्ट्रीटवियर फैशन पेश करना जो पारंपरिक से अलग हो और एक खास सोच का परिचायक हो। इसका निर्माण उन लोगों के लिए किया गया जो बड़े और अलग विचारों का सपना देखते हैं और आत्मविश्वास से भरे होते हैं। इस विचारधारा को ध्यान में रखते हुए यश गंगवाल ने 2014 में Urban Monkey की शुरुआत की, जो शुरुआती रूप में कैप, वॉलेट और शर्ट के सीमित कलेक्शन के साथ आई। आज कंपनी की प्रोडक्ट रेंज दस से अधिक कैटेगरी में फैली है, जिसमें 500 से अधिक उत्पाद शामिल हैं।

किस उत्पाद में है बिक्री का दबदबा?

Urban Monkey मुख्य रूप से स्ट्रीटवियर फैशन पर केंद्रित है। ब्रांड अपने ग्राहकों के साथ सीधा संबंध बनाते हुए अपने उत्पाद मुख्य रूप से अपनी वेबसाइट पर बेचता है। उनके कलेक्शन में कैप, शर्ट, बटुए, और सनग्लास जैसी चीजें शामिल हैं। Urban Monkey की बिक्री में आईवियर और कैप का सबसे अधिक दबदबा है, जो कुल बिक्री का क्रमशः 30% और 40% हिस्सा बनाते हैं।

अपनी वेबसाइट का निर्णय और विस्तार

यश गंगवाल ने शुरुआती तीन सालों में अपने उत्पादों को ऑनलाइन मार्केटप्लेस पर बेचा, लेकिन SEO की चुनौतियों के कारण उन्होंने अपनी वेबसाइट पर विशेष रूप से उत्पाद बेचने का निर्णय लिया। इस फैसले ने कंपनी को अधिक लाभदायक बना दिया और आज उनकी 30% बिक्री Google सर्च से आती है।

Shark Tank में अस्वीकार, फिर भी सफलता

Urban Monkey के शुरुआती साल चुनौतीपूर्ण रहे। ऑनलाइन मार्केटप्लेस पर उन्हें बड़ी सफलता नहीं मिली थी। लेकिन जब यश ने अपनी वेबसाइट का फैसला किया, ब्रांड ने उड़ान भर ली। यश गंगवाल ने Shark Tank India के दूसरे सीजन में भी भाग लिया, लेकिन वहां उन्हें कोई निवेश नहीं मिला। आज, Urban Monkey का वार्षिक टर्नओवर लगभग 12 करोड़ रुपये है और कंपनी की वैल्यूएशन 100 करोड़ रुपये तक पहुंच चुकी है।

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